कोरबा वनमंडल के पसरखेत रेंज अंतर्गत ग्राम पतरापाली निवासी एक ग्रामीण पर भालू ने उस समय हमला कर दिया जब वह जंगल में मवेशी ढूंढने गया था। हमले में भालू ने ग्रामीण के आंखे नोच डाली। इलाज के लिए उसे जिला अस्पताल लाया गया, जहां स्थिति गंभीर देखते हुए उसे सिम्स रेफर किया गया।
वन क्षेत्रों के आसपास बसे गांवों में हाथियों का भय लोगों में पहले से ही बना हुआ है। अब भालू के हमले की घटनाएं बढ़ने लगी हैं। पखवाड़े भर पहले बालको वन परिक्षेत्र में एक महिला पर भालू ने हमला कर दिया था। महिला के साथ उसका पालतू कुत्ता होने की वहज से वह बच गई। बहरहाल गुरूवार को हुई घटना पतरापाली के निकट जंगल की है। पतरापाली के आश्रित ग्राम बोइरझूमर टिकरा निवासी जोतराम राठिया 64 वर्ष अपने अपने मवेशी को ढूंढने जंगल की ओर गया था। इस दौरान इस वर्षा शुरू हो गई, जिससे बचने के लिए वह पेड़ का आश्रय ले लिया। उसे नहीं मालूम था कि जिस पेड़ ने नीचे वह खड़ा है उसके निकट झाड़ियों में भालू बैठा था।
जोतराम को अपने निकट देख भालू ने उसे पर हमला कर दिया है। भागने में नाकाम बुजुर्ग जोतराम भालू से भिड़ गया। 15 मिनट तक चले खूनी संघर्ष में थक हारकर भालू जंगल की ओर भाग गया लेकिन जोतराम सिर को जख्मी करने के अलावा उसकी आंखों को नोच डाला। खून से लथपथ बुजुर्ग के घर वापस लौटने पर गांव में शोर मच गया। उसे देखने लोगाें की भीड़ लग गई। स्वजनों ने इसकी सूचना वन विभाग को दी जिनके सहयोग उसे जिला मेडिकल कालेज अस्पताल पहुंचाया गया, जहां स्थिति गंभीर देखते हुए उसे सिम्स रेफर कर दिया है। वन विभाग ने घायल के स्वजनों को 2,000 तात्कालिक सहयोग राशि प्रदान किया है।