जशपुर:-जशपुर जिले के बगीचा ब्लाक अंतर्गत सन्ना परियोजना में पिछले कांग्रेस सरकार में फर्जी और कूटरचित अंकसूची लगा कर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सहायिका नियुक्ति किये जाने के बाद लगातार माहौल गर्म होता दिख रहा है।आपको बता दें कि इस नियुक्ति में जनपद सीईओ,बीईओ,परियोजना अधिकारी सहित अनुमोदन करने वाले कई सदस्य शामिल हैं जिनके नाम पर पीड़ित पक्ष ने आठ महीने पहले थाना में और जिला पुलिस अधीक्षक कार्यालय जशपुर में सबके विरुद्ध एफआईआर दर्ज कराने आवेदन दिया था वहीं उक्त मामला न्यायालय अपर कलेक्टर जशपुर में भी चल रहा था जिसके बाद न्यायालय ने यह कहा कि उक्त अंकसूची फर्जी और कूटरचित है जिसे लगा कर फर्जी नियुक्ति की गई है अतः जल्द से जल्द आवेदिका रमनी बाई और मनप्रीत बाई को नियुक्ति आदेश दिया जाये उसके दो महीने बीतने के बाद भी ना तो विभाग ने नियुक्ति आदेश दिया था और ना ही पुलिस में कोई कार्यवाही हुई थी।
जिसके बाद पीड़ित रमनी और मनप्रीत प्रदेश के कद्दावर आदिवासी नेता पूर्व मंत्री गणेश राम भगत के पास जा पहुंचे और फिर क्या था पूर्व मंत्री बिना देर किए सन्ना थाना पहुंच गये और सीईओ,बीईओ,परियोजना अधिकारी समेत सभी संलिप्त लोगों पर तत्काल एफआईआर दर्ज करने की मांग करने लगे और थाने में बैठ कर ही जिला के ऊर्जावान पुलिस अधीक्षक साहब से भी बात किये और परियोजना अधिकारी को भी फोन पर नियुक्ति देने की बात कही।जिसके बाद क्या था बगीचा/सन्ना प्रशासन हड़कम्प में आया और अनन फानन में दूसरे ही दिन दोनों पीड़िताओं को नियुक्ति आदेश मिल गया।वहीं अब उक्त आदेश मिलने के बाद यह भी सिद्ध हो गया है कि सभी अधिकारियों ने मिलीभगत करके फर्जी नियुक्ति किया था जिनके विरुद्ध अब पूर्व मंत्री और जनजाति सुरक्षा मंच के कार्यकर्ताओं ने कमर कस लिया है और खबर है कि आने वाले शनिवार को सन्ना में जनजाति सुरक्षा मंच के प्रमुख कार्यकर्ताओं का महत्वपूर्ण बैठक रखा गया है जिसमें कांग्रेस सरकार में हुए भ्रष्टाचार पर कार्यवाही हेतु आंदोलन की रणनीति बनेगी।