रायगढ़। विधानसभा चुनाव जैसे जैसे पास आ रहा प्रदेश की राजनीति में भूचाल आना स्वभाविक है रायगढ़ विधानसभा क्षेत्र के पुत्र द्वारा किये गए मारपीट का मामला फिर से एक बार तूल पकड़ता नजर आ रहा है आपको बताते चलें कि आज प्रदेश भर में सोसल मीडिया पर वायरल हो रहे पत्र ने जिले व आस-पास के जिलों में खलबली सी मचा दी है, मामला कुछ यूं है कि विधान सभा क्षेत्रन्तर्गत रायगढ़ से कांग्रेस विधायक प्रकाश नायक एवं उसके परिवार के किसी भी सदस्य को प्रत्याशी नहीं बनाने संबंधित पत्र प्रदेश अध्यक्ष दीपक बैज से आदिवासी वर्ग के युवाओं ने मांग की है।
पत्र में बताये अनुसार आदिवासी समाज के सदस्यों ने बैठक आहूत कर यह निर्णय लिया गया कि रायगढ़ विधायक प्रकाश नायक के पुत्र रितिक नायक के द्वारा 15-16 अप्रैल 2020 की मध्य रात्रि अपने साथियों के साथ मिलकर आदिवासी समाज के कान्स्टेबल एल. एस. राठिया से कोतरा रोड रायगढ़ के थाने में खुले आम अनावश्यक और जबरन मारपीट की गई जिसका सी.सी.टी.वी. फुटेज भी सभी मिडिया वालों ने अपने चैनल-पेपरों व सोसल मीडिया पर वायरल हुआ था ,जिसके पश्चात आरोपी रितिक नायक को कांग्रेस के नेताओं एवं जिला कांग्रेस के पदाधिकारियों, नगर पालिका के पदेन वरिष्ठ जनों के संरक्षण मे नगर कोतवाली, रायगढ़ में सुपुर्द किया गया। साथ ही कान्स्टेबल एल. एस. राठिया पर प्रकरण वापस लेने के लिए भरपुर दबाव भी बनाया गया ? पत्र से यह बात भी सामने आ रही है कि नायक परिवार के द्वारा किये जा रहे गुंडगर्दी मारपीट के मामले को लेकर कहीं न कहीं कांग्रेस पार्टी के आला नेताओं का भी भरपूर संरक्षण है। वहीं राजनीतिक दबाव में प्रकरण से गंभीर धारायें हटाया जाने का षडयंत्र कारित करने का भी आरोप आदिवासी युवकों ने लगाया है ।
सोसल मीडिया के वायरल पत्र में साफ लब्जो में यह कह दिया गया है कि प्रकाश नायक एवं उसके परिवार को यदि रायगढ़ विधान सभा से प्रत्याशी बनाया गया तो आदिवासी समाज रायगढ़, सारंगढ़ और जशपुर जिले के आदिवासी कांग्रेस पार्टी का पुरजोर विरोध करेंगे।